जैन तीर्थस्थल परिचय
संख्या 6⚜बुंदेलखंड यात्रा⚜
श्री दिगंबर जैन अतिशय क्षेत्र नवागढ़ (नाबई), जिला ललितपुर
श्री दिगंबर जैन अतिशय क्षेत्र नाबई, प्राकृतिक सौंदर्य से पूर्ण, बुंदेलखंड की यात्रा में तृतीय स्थान पर है । इस क्षेत्र के गौरवशाली और सुंदर अतीत से पता चलता है, कि यह स्थान कला के प्राचीन सुंदर प्रतीकों से भरा हुआ है ! मूर्तियों और अन्य साक्ष्यों पर शिलालेख से पता लगता है कि इस क्षेत्र के मंदिरों का निर्माण पदशाह के उत्तराधिकारियों द्वारा बनाया गया था ! ऐसा मानना है कि यह क्षेत्र 12 वीं सदी में अत्यधिक समृद्धशाली था ।
यह क्षेत्र जिसे नवागढ़ भी कहा जाता है, एक छोटे से गाँव नबाई में स्थित है। यह गांव तीन दिशाओं से एक सुंदर छोटी नदी से घिरा हुआ है !
इस क्षेत्र का मुख्य मंदिर एक विशाल पहाड़ी के नीचे एक तहखाने (भूमिगत स्थान) में स्थित है। यहां अतीत में, इस पहाड़ी पर एक भव्य मंदिर की उपस्थिति का संकेत है, जो चट्टानों पर बड़ा आयताकार टुकड़ों से घिरा हुआ है, इन चट्टान के अवशेष मंदिर के खंडहर हो सकते है। ऐसा माना जाता है !
पहाड़ी के केन्द्र में, एक तहखाने (भूमिगत स्थान) पर 6 फुट ऊँची भगवान अरहनाथ की शानदार चमत्कारी खड्गासन प्रतिमा मौजूद है, नीले रंग के पत्थर की इस खूबसूरती प्रतिमा पर वि.स. 1202 होने के प्रमाण है ! वर्तमान में, इस पहाड़ी पर एक शानदार मंदिर, एक धर्मशाला और एक संग्रहालय का निर्माण किया गया है । इस संग्रहालय में कला के महत्वपूर्ण और दुर्लभ नमूनों को सुरक्षित रखा गया है !
अतिशय :- जैन और अन्य लोगों की गहरा विश्वास भगवान अरहनाथ के साथ जुड़ा हुआ है। प्राकृतिक आपदाओं, गंभीर बीमारी के समय लोग दूर दूर से भगवान अरहनाथ की पूजा करने के लिए आते हैं वर्तमान में भी ग्रामीण लोग कोई भी नया काम शुरू करने से पहले यहां आते हैं।
एक बार गर्मियों में यहाँ पानी अत्यधिक की कमी हुई थी, फिर भगवान अरहनाथ की विशेष पूजा-अर्चना के बाद से यहाँ पानी का स्तर अचानक 15 फुट तक बढ़ गया था ।
निकटवर्ती स्थान :
अतिशय क्षेत्र : - पपौरा जी 30 कि.मी.
सिद्ध क्षेत्र : - आहारजी 55 कि.मी., द्रोणगिरि 55 कि.मी. बड़ागाँव 15 कि.मी.
नजदीकी शहर : टीकमगढ़ 30 किमी, ललितपुर से 60 किमी, महरौनी 20 किमी,
एक बार इस अतिशय क्षेत्र पर आकर दर्शन का लाभ अवश्य ले !
संकलनकर्ता
सुलभ जैन (बाह)
पवा, अहार, पपौरा, नाबई, सोनागिर, नैनागिर,
खजुराहो, थूबोन चंदेरी, देवगढ़ अरू द्रोणागिर।
बंधा, मदनपुर और करगुवां, जैन तीर्थ हैं भारी
तीर्थ क्षेत्र बुंदेलखण्ड के अनुपम अतिशय भारी॥
Very Useful
ReplyDeleteThank you for sharing and encouraging to visit
ReplyDeleteSanjay manager nawagarhji m 8o85127911,8871817611
ReplyDeleteJay sri arahnath bhagvan
DeleteJai jinendrs
Deleteनवागढ़ क्षेत्र की स्थापना किसने की थी?
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